कोर्न,जिसे हम आमतौर पर भुट्टे के नाम से जानते हैं पोषण के लिहाज़ से बेहतरीन माना जाता है |अपनी फ़ूड वेल्यू और विभिन्न तरीकों से प्रयोग किये जाने की क्षमता के चलते ही इसे दुनिया के सबसे बेहतरीन अनाजों की श्रेणी में शामिल किया जाता है |
मक्के को पकाने के बाद उसकी पौष्टिकता में वृद्धि होती है |पके भुट्टे में मौजूद होता है कैरीटीनायड जो की भरपूर विटामिन ऐ का बेहतरीन स्रोत है और दिल की बीमारियों व केंसर की आशंका को कम करने में मददगार होता है |मक्के को पकाने के बाद उसमे एंटी-आक्सीडेंट बद जाते हैं,जो शरीर के लिए बहुत फायदेमंद होता हैं |भुट्टे को पकाने से इसमें लगभग ५३ प्रतिशत एंटी-आक्सीडेंट बद जाते है |साथ ही,पके हुए मक्के में होता है फेरुलिक एसिड,जो केंसर जैसी जटिल बीमारियों से लड़ने में मददगार होता है |स्वीट कोर्न में ये पोषक तत्व और भी ज्यादा मात्र में मौजूद होते हैं |इसके इलावा मक्के में कैरोटिन भी मौजूद होता है,जिसके कारण इसका रंग पीला होता है |बीटा कैरोटिन और ऐरोतीं इसे कैंसर से बचाने के लिए उपयुक्त भोज्य पदार्थ बनाते हैं |
न्यूट्रीशनल चार्ट :
कैलोरी ७७
फैट १ ग्राम
सेचुरेटीड फैट १ ग्राम से कम
कोलेस्ट्रोल ० मिलीग्राम
कार्बोहाईद्रेट १९ ग्राम
प्रोटीन ३ ग्राम
डाइटरी फाइबर ३ ग्राम
सोडियम १३ मिलीग्राम
विटामिन सी ५ मिलीग्राम
फोलिक एसिड ४१ माइक्रोग्राम
नायसिन २ मिलीग्राम
पोटेशियम २४३ मिलीग्राम
साबुत माके और इसके रिफाइंड फॉर्म में फाइबर की मात्र का फर्क होता है |साबुत मक्के में फाइबर प्रचुर मात्रा में होता है |जबकि मक्के को पीसने के बाद इसका फाइबर कंटेंट कम हो जाता है |
No comments:
Post a Comment